खेलपत्र नमस्कार। भारत के पूर्व क्रिकेटर वीवीएस लक्ष्मण अपनी आत्मकथा 281 ऐंड बियॉन्ड को लेकर काफी सुर्खियों में बने हुए है। इसके साथ ही लक्ष्मण ने अपनी इस किताब में अपने साथी खिलाड़ियों से जुड़े कई रोचक किस्सों का भी जिकर किया हैं।
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इन्ही किस्सों में से एक किस्सा लक्षमण ने महेंद्र सिंह धोनी के बारे में लिखा है। लक्ष्मण ने लिखा है कि मेरे साथ हमेशा रहने वाली यादों में से एक याद तब की है, जब भारतीय टीम के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने भारतीय टीम की बस चलाई थी। जी हां सही सुना आपने लक्ष्मण इस बारें में कहते है कि यह वाक्या उनके 100वें टेस्ट मैच के दौरान हुआ, जब धोनी नागपुर में टीम की बस को होटल तक चलाकर ले गए थे।
इसके बाद लक्ष्मण ने अपनी आत्मकथा में लिखा है कि मुझे उस समय अपनी आंखों पर विश्वास नहीं हो रहा था। कि टीम का कप्तान बस चलाकर हमें ग्राउंड में वापस ले जा रहा था। अनिल कुंबले के रिटायरमेंट के बाद यह उनका बतौर कप्तान पहला टेस्ट मैच था।
इसके साथ ही उन्होंने धोनी को लेकर लिखा है कि ऐसा लग रहा था कि धोनी दुनिया से बेपरवाह थे। वह ऐसे ही थे, चुलबुले और जमीन से जुड़े हुए।
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लक्ष्मण के अनुसार धोनी जैसा इंसान उन्होंने आज तक नहीं देखा। जब वह टीम में आए तो तब उनका कमरा हर किसी के लिए खुला रहता था। मेरे आखिरी टेस्ट मैच तक वह भारत के सबसे सफलतम कप्तान बन चुके थे, तब भी वह सोने से पहले दरवाजा बंद नहीं करते थे।